AI in Devghar: इस साल का श्रावणी मेला 2025 आस्था और श्रद्धा के साथ-साथ तकनीक और प्रशासनिक दक्षता का उदाहरण बनने जा रहा है। राज्य के स्वास्थ्य मंत्री डॉ. इरफान अंसारी ने देवघर परिसदन में आयोजित उच्चस्तरीय समीक्षा बैठक के दौरान मेला को हाईटेक बनाने की घोषणा की। पहली बार मेला क्षेत्र में AI आधारित निगरानी प्रणाली और ड्रोन टेक्नोलॉजी का प्रयोग किया जाएगा, जिससे लाखों श्रद्धालुओं को सुरक्षित, व्यवस्थित और आधुनिक सुविधा मिल सकेगी।
डॉ. अंसारी ने बताया कि देश में पहली बार किसी धार्मिक मेले में ड्रोन के माध्यम से ब्लड डिलीवरी की व्यवस्था की जा रही है। आपातकालीन स्थिति में श्रद्धालुओं को ब्लड बैंक से सीधे ड्रोन द्वारा रक्त पहुँचाया जाएगा, जिससे जीवनरक्षा की गति और भरोसा दोनों बढ़ेंगे।श्रावणी मेला क्षेत्र में भीड़ नियंत्रण, आपात प्रतिक्रिया और स्वास्थ्य निगरानी के लिए AI-आधारित निगरानी सिस्टम लगाया जाएगा, जो हर गतिविधि पर नजर रखेगा और किसी भी जोखिम की पूर्व चेतावनी दे सकेगा। मंत्री ने यह भी स्पष्ट किया कि श्रद्धालुओं की चिकित्सा सुविधा के लिए 160 डॉक्टर, 41 एंबुलेंस और 32 अस्थायी स्वास्थ्य केंद्र बनाए जा रहे हैं। साथ ही, 300 प्रकार की आवश्यक दवाएं पहले से ही उपलब्ध करा दी गई हैं।
नकली दवाओं और नशे के खिलाफ कड़ी कार्रवाई के संकेत देते हुए डॉ. अंसारी ने कहा कि औषधि निरीक्षक, ड्रग कंट्रोल टीम और पुलिस बल लगातार निगरानी करेंगे। मिलावटी भोजन या हानिकारक वस्तु पाए जाने पर खाद्य विक्रेता और संबंधित अधिकारी दोनों के खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाएगी।आपदा प्रबंधन के मद्देनज़र NDRF की तैनाती की जाएगी। साथ ही इमरजेंसी मेडिकल यूनिट, कंट्रोल रूम और सर्विलांस टीमें हर समय सतर्क रहेंगी।
राज्य सरकार ने यह भी संकेत दिया कि मेला न केवल भक्ति का केंद्र होगा, बल्कि स्मार्ट प्रशासन और तकनीक का आदर्श मॉडल भी बन सकता है।इस महत्वपूर्ण बैठक में देवघर विधायक सुरेश पासवान, सारठ विधायक उदय शंकर सिंह, जरमुंडी विधायक देवेंद्र कुंवर, NHM निदेशक शशि प्रकाश झा, देवघर के डीसी नमन प्रियेश लकड़ा, एसपी अजीत पीटर डुंगडूग, नगर आयुक्त रोहित सिन्हा, और सिविल सर्जन डॉ. युगल किशोर चौधरी समेत कई वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।