Political Conflict: झारखंड के मंत्री हफीजुल हसन के एक बयान ने सियासी हलचल तेज कर दी है। हसन ने शरीयत को संविधान से ऊपर बताया, जिसके बाद भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने आक्रोश मार्च की घोषणा की है। पूर्व मुख्यमंत्री और BJP नेता बाबूलाल मरांडी ने इस बयान की निंदा की है और सरकार से मंत्री के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की है।
विवाद क्या है?
मंत्री हफीजुल हसन के बयान से विवाद शुरू हुआ है, जिसमें उन्होंने शरीयत को संविधान से ऊपर बताया। यह बयान संवैधानिक मूल्यों के खिलाफ माना जा रहा है और विपक्षी दलों ने इसका कड़ा विरोध किया है।
BJP की प्रतिक्रिया
BJP ने हफीजुल हसन के बयान की निंदा की है और आक्रोश मार्च की घोषणा की है। पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी ने कहा है कि यह बयान झारखंड की संस्कृति और संविधान के खिलाफ है और सरकार को मंत्री के खिलाफ कार्रवाई करनी चाहिए।
राजनीतिक प्रतिक्रिया
इस बयान के बाद झारखंड की राजनीति गरमाई हुई है। विपक्षी दल सरकार पर हमलावर हैं और मंत्री के बयान की निंदा कर रहे हैं। देखना यह है कि सरकार इस मामले में क्या कार्रवाई करती है और आगे क्या होता है।