Severe Water Shortage: सरायकेला जिले के कपाली नगर परिषद क्षेत्र में पानी की कमी विकराल रूप ले चुकी है। पिछले दो हफ्तों से सरकारी पाइपलाइन सप्लाई पूरी तरह बंद है, जिससे हजारों परिवार पीने और उपयोग के पानी के लिए भयानक संकट का सामना कर रहे हैं। स्थिति बिगड़ने पर नगर परिषद ने टैंकर से पानी वितरण शुरू किया, लेकिन यह व्यवस्था भी स्थानीय महिलाओं के लिए नई मुश्किल लेकर आई है।
स्थानीय निवासी रूबी प्रवीण ने बताया कि उनके घर में शादी का माहौल है और मेहमान पहुँचे हुए हैं, लेकिन पानी न होने से खाना पकाना तक संभव नहीं हो पा रहा। उन्होंने कहा कि “शादी की तैयारी छोड़ हम पूरे दिन पानी लाने में लगे हैं। स्थिति बेहद शर्मनाक है।”कई महिलाओं का कहना है कि जिन घरों में निजी बोरिंग है, वहीं से मिन्नत करके पीने का पानी लाया जा रहा है और इसी के सहारे किसी तरह दिन काट रहे हैं।
सइबा खातून ने बताया कि पानी की कमी ने बच्चों की पढ़ाई पर भी असर डाल दिया है। बच्चों के स्कूल जाने के कपड़े तक धोने की सुविधा नहीं है, जिससे कई दिन से बच्चे घर पर ही बैठने को मजबूर हैं। उन्होंने कहा कि “हम हर महीने पानी बिल देते हैं, लेकिन फिर भी पानी नहीं मिलता। आखिर गलती किसकी है?
पानी टैंकर आते ही क्षेत्र में भारी भीड़ लग जाती है और इसी दौरान महिलाओं के फोटो और वीडियो बनाए जाने की शिकायत सामने आई है। कई महिलाओं ने इसकी तीखी आपत्ति जताई है।एक महिला ने कहा, “हम बार-बार कहते हैं कि टैंकर को मुख्य सड़क से हटाकर अंदर वाली क्रॉस रोड में लगाया जाए ताकि भीड़ कम हो और निजता बनी रहे, लेकिन हमारी बात सुनी ही नहीं जाती।”महिलाओं का आरोप है कि टैंकर कर्मी बदसलूकी करते हैं और कहते हैं—“यहीं से पानी लेना है तो लो, नहीं तो जाओ।” इससे महिलाओं में आक्रोश और डर दोनों बढ़ गया है।
अंजुम खातून ने सवाल उठाया कि जब सभी परिवार हर महीने पानी का बिल जमा करते हैं, तो इस स्तर का संकट क्यों उत्पन्न हो गया है। उन्होंने कहा कि “हमारी गलती ही क्या है? हम पैसे भी देते हैं और पानी भी नहीं मिलता।”स्थानीय लोगों का कहना है कि नगर परिषद ने सप्लाई ठप होने की कोई स्पष्ट वजह भी नहीं बताई।
क्षेत्र की महिलाओं और स्थानीय निवासियों ने चेतावनी दी है कि यदि प्रशासन ने तुरंत सप्लाई बहाल नहीं की और टैंकर व्यवस्था में सुधार नहीं किया, तो वे सामूहिक रूप से कपाली नगर परिषद कार्यालय का घेराव करेंगी।लोगों ने मांग की है कि पानी टैंकर को भीड़भाड़ वाली सड़क से हटाकर सुरक्षित जगह पर लगाया जाए और महिलाओं की निजता का सम्मान सुनिश्चित किया जाए।क्षेत्रवासियों का कहना है कि यदि स्थिति जल्द सामान्य नहीं हुई, तो वे बड़े आंदोलन की तैयारी करेंगे।


