Naxal Crackdown Success: लातेहार पुलिस को नक्सल उन्मूलन अभियान में बड़ी उपलब्धि हासिल हुई है। मंगलवार को उग्रवादी संगठन जेजेएमपी (झारखंड जन मुक्ति परिषद) के नौ सक्रिय नक्सलियों ने हथियारों संग लातेहार पुलिस मुख्यालय में आत्मसमर्पण किया। यह कदम पुलिस अधीक्षक कुमार गौरव की रणनीति और राज्य सरकार की आत्मसमर्पण एवं पुनर्वास नीति का परिणाम बताया जा रहा है।
आत्मसमर्पण कार्यक्रम में बड़ी मौजूदगी
आत्मसमर्पण के दौरान पुलिस और सीआरपीएफ के आला अधिकारी मौजूद रहे। इनमें सीआरपीएफ आईजी साकेत सिंह, आईजी अभियान माईकलराज एस, पलामू आईजी सुनील भास्कर, डीआईजी नौशाद आलम, लातेहार एसपी कुमार गौरव और सीआरपीएफ कमांडेंट शामिल थे। अधिकारियों ने इसे जिले से जेजेएमपी संगठन की समाप्ति की दिशा में निर्णायक कदम करार दिया।
इनामी कमांडरों की पूरी सूची
सरेंडर करने वालों में कई बड़े इनामी नक्सली शामिल हैं।
जोनल कमांडर रविंद्र यादव, ₹5 लाख इनामी, 14 मामले दर्ज। उसके पास से दो एके-47, तीन रायफल और 1241 कारतूस बरामद।
सब-जोनल कमांडर अखिलेश रविंद्र यादव, ₹5 लाख इनामी, 10 मामले दर्ज। एके-47 और 256 कारतूस के साथ आत्मसमर्पण।
सब-जोनल कमांडर बलदेव गंझू, ₹5 लाख इनामी, नौ मामले दर्ज।
सब-जोनल कमांडर मुकेश राम यादव, ₹5 लाख इनामी, 21 मामले दर्ज।
सब-जोनल कमांडर पवन उर्फ राम प्रसाद, ₹3 लाख इनामी, तीन मामले दर्ज। रायफल के साथ सरेंडर।
एरिया कमांडर ध्रुव, तीन मामले दर्ज, रायफल बरामद।
एरिया कमांडर विजय यादव, दो मामले दर्ज, रायफल के साथ आत्मसमर्पण।
एरिया कमांडर श्रवण सिंह, दो मामले दर्ज, एके-47, रायफल और 131 कारतूस बरामद।
एरिया कमांडर मुकेश गंझू, दो मामले दर्ज, एके-47 और 154 कारतूस के साथ आत्मसमर्पण।
लातेहार कभी नक्सल प्रभावित जिलों में गिना जाता था, लेकिन पिछले कुछ वर्षों में हालात बदल गए हैं। पुलिस, सीएपीएफ और आम जनता के संयुक्त प्रयासों के साथ-साथ मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के दिशा-निर्देश और राज्य सरकार की पुनर्वास नीति ने अहम भूमिका निभाई। पुलिस लगातार गांव-गांव जाकर लोगों को मुख्यधारा से जोड़ने का अभियान चला रही है, जिससे कई उग्रवादी आत्मसमर्पण कर चुके हैं।
जनवरी 2025 से अब तक 75 नक्सली गिरफ्तार किए जा चुके हैं। 24 मई को हुई मुठभेड़ में ₹10 लाख का इनामी पप्पू लोहरा और ₹5 लाख का इनामी सुदेश गंझू मारे गए। 26 मई को भाकपा माओवादी का सब-जोनल कमांडर मनीष यादव (₹5 लाख इनामी) ढेर हुआ, जबकि ₹10 लाख का इनामी कुंदन गिरफ्तार किया गया।
नौ बड़े नक्सलियों का आत्मसमर्पण लातेहार पुलिस की ऐतिहासिक उपलब्धि माना जा रहा है। अधिकारियों का कहना है कि अब जिले से जेजेएमपी का खात्मा हो चुका है और क्षेत्र शांति और विकास की राह पर आगे बढ़ रहा है।