Giridih News: गिरिडीह जिले में सरिया को अलग जिला बनाने की वर्षों पुरानी मांग एक बार फिर जोर पकड़ती दिख रही है। इसी मांग को लेकर गुरुवार को सरिया अनुमंडल कार्यालय के समक्ष सरिया जिला संघर्ष मोर्चा द्वारा एकदिवसीय धरना प्रदर्शन आयोजित किया गया। कार्यक्रम का नेतृत्व झामुमो जिला उपाध्यक्ष एवं संघर्ष मोर्चा के अध्यक्ष त्रिभुवन मंडल ने किया, जबकि अध्यक्षता अशोक मंडल और संचालन मौलाना मुख्तार ने किया। धरना में सैकड़ों की संख्या में स्थानीय लोग, कार्यकर्ता और आम नागरिक शामिल हुए।
धरना में वक्ताओं ने सरकार पर उपेक्षा का आरोप लगाते हुए कहा कि सरिया क्षेत्र अंग्रेजों के काल से ही प्रशासनिक दृष्टि से महत्वपूर्ण रहा है और यह जिला बनाए जाने की सभी अहर्ताएं पूरी करता है। प्रदर्शनकारियों के अनुसार यहां पर्याप्त जनसंख्या, विस्तृत भौगोलिक क्षेत्र, आर्थिक क्षमता, रेलवे स्टेशन, मजबूत सड़क संपर्क और प्राकृतिक संसाधन मौजूद हैं — जो इसे स्वतंत्र जिला बनाने का आधार प्रस्तुत करते हैं।
त्रिभुवन मंडल ने अपने संबोधन में बताया कि सरिया से गिरिडीह जिला मुख्यालय की दूरी 72 किलोमीटर है, जबकि गरमुंडो जैसे गांवों से दूरी 100 किलोमीटर के करीब है। ऐसे में प्रशासनिक कार्यों के लिए लोगों को अत्यधिक दूरी तय करनी पड़ती है, जिससे विकास कार्य प्रभावित होते हैं।
प्रदर्शनकारियों ने कहा कि जिला बनने से शिक्षा, स्वास्थ्य, रोजगार और प्रशासनिक सेवाएं स्थानीय स्तर पर ही उपलब्ध होंगी। उनका दावा है कि लंबे समय से सरकार का रुख उदासीन रहा है, जबकि क्षेत्र के लोग लगातार धरना, प्रदर्शन और ज्ञापन सौंपते आ रहे हैं।
धरना समाप्त होने के बाद प्रदर्शनकारियों ने अनुमंडल पदाधिकारी के माध्यम से मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपकर सरिया को जल्द जिला घोषित करने की मांग की। साथ ही चेतावनी दी कि यदि सरकार ने जल्द निर्णय नहीं लिया तो आंदोलन को और व्यापक रूप दिया जाएगा।
धरना स्थल पर शंकर मंडल, रफीक अंसारी, मौलाना मुख्तार, राजू मंडल, गिरधारी पासवान, दीपक मंडल, अशोक मंडल, राजेश मंडल और सेवा दास समेत बड़ी संख्या में नागरिक मौजूद रहे। सभी ने एक स्वर में कहा कि सरिया को जिला बनाए जाने से गिरिडीह जिले के इस हिस्से में विकास की गति बढ़ेगी और प्रशासनिक पहुंच सुगम होगी।फिलहाल सरकारी स्तर पर इस मांग को लेकर कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं आई है।


